कोटद्वार बचाओ संघर्ष समिति ने 20 सितंबर को होने वाले कोटद्वार बंद व चक्काजाम को सफल बनाने के लिए बनायी रणनीति - TOURIST SANDESH

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सोमवार, 18 सितंबर 2023

कोटद्वार बचाओ संघर्ष समिति ने 20 सितंबर को होने वाले कोटद्वार बंद व चक्काजाम को सफल बनाने के लिए बनायी रणनीति

 कोटद्वार बचाओ संघर्ष समिति ने 20 सितंबर को होने वाले कोटद्वार बंद व चक्काजाम को सफल बनाने के लिए बनायी रणनीति 

कोटद्वार। कोटद्वार बचाओ संघर्ष समिति ने 20 सितंबर को कोटद्वार बंद व चक्काजाम को लेकर कमर कस ली है तथा बन्द को सफल बनाने के लिए रणनीति तैयार कर दी है। कोटद्वार बंद व चक्काजाम के लिए व्यापार मंडल, टैक्सी यूनियनन, टैम्पो यूनियन, ई रिक्सा, जीएमओयू, रोडवेज ने अपना समर्थन दे दिया है। कोटद्वार के समस्त सामाजिक संगठन जिसमें नागरिक मंच, वरिष्ठ नागरिक संगठन, गढ़वाल सभा सहित किशनपुरी, झंडीचौड़, देवीमंदिर, तड़ियाल चौक के व्यापार मंडल ने अपना पूरा सहयोग दिए जाने की सहमति दे दी है। कौडिया से लेकर सिद्धबलि व सिद्धबलि से लेकर सिगड्डी तक के क्षेत्र को बंद के दायरे मे शामिल किया गया है। संघर्ष समिति मेडिकल एसोसिएश, कैमिस्ट एसोसिएशन से भी बंद का समर्थन करने के लिए वार्ता करेगी।

 कोटद्वार बचाओ संघर्ष समिति के संयोजक नागेंद्र उनियाल ने व्यापार मंडल सभागार में पत्रकार वार्ता करते हुए कहा कि कोटद्वार बंद व चक्काजाम किसी भी सरकार के खिलाफ आंदोलन नहीं है। बंद व चक्का जाम से प्रदेश सरकार को एक संदेश दिया जाएगा। जिसमें कोटद्वार के पुराने वैभव को लौटाने की की मांग की जाएगी। नागेंद्र उनियाल ने कहा कि वर्तमान में कोटद्वार विकास की दौड़ में पिछड़ चुका है। लालढांग-चिलरखाल मोटर मार्ग, मोटर नगर का निर्माण कार्य ठप्प पड़ा हुआ है। कोटद्वार से दिल्ली जाने वाली ट्रेन का संचालन नहीं हो पा रहा है। केंद्रीय विद्यालय व मेडिकल कालेज भी अधर में लटके हुए है। कोटद्वार का पूरा सीवर खुले में बह रहा है। कोटद्वार की जनसमस्याओं को लेकर 20 सितंबर को कोटद्वार बंद व चक्काजाम किया जाएगा। उन्होंने कहा कि संघर्ष समिति के इस निर्णय का सभी सामाजिक संगठनों ने समर्थन किया है। उन्होंने समस्त क्षेत्रवासियों से भी कोटद्वार बंद व चक्काजाम का समर्थन करने का आग्रह किया। कहा कि दोपहिया वाहनों व आवश्यक सेवाओं को  चक्का जाम व बंद से बाहर रखा गया है। चक्काजाम व बंद का समर्थन करने के लिए सरकारी व अर्ध सरकारी सहित निजी विद्यालयों के संचालकों व प्रबंधको से भी संपर्क साधा जा रहा है। इस मौके पर डा. शक्तिशैल कपरवाण, चंद्र प्रकाश नैथानी, गोंविद डंडरियाल, पीएल खंतवाल मौजूद रहे।

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